आप मैं हम और देश की आर्थिकी

देश मे एक संविधान है और हज़ारों कानून हैं जो यह सोच कर और मान कर घड़े लिखे गए हैं कि अथॉरिटीज तो देवता हैं और आम जनता चोर है डाकू है। ऑथोरिटी कदे भी गलत काम नही करती और कर सकती। देश ने एक कम्पनी बनती है जो बनते ही इनकम टैक्स कानून, GST कानून और कंपनीज एक्ट के तहत देश के संविधान के दायरे में काम करने लगती है। कम्पनी के लिए सरकार ने एक Statutary ऑडिटर का …

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कृषि हेतु देसी पेटेंट नुस्खे

कुंवर रविन्द्र राणा गोमूत्र : गोमूत्र में कीटों को भगाने एवं पौध बढवार (टॉनिक) के रूप में कार्य करने की शक्ति है। एक स्प्रे पंप में 250 मिली लीटर गोमूत्र प्रति 16 लीटर पानी में डालें | (कददू वर्गीय फसलों में 150 मिली लीटर गोमूत्र प्रति 16 लीटर पानी में डालें। मटका खाद : एक मटका खाद को 300 लीटर पानी में अच्छे से घोलकर इस विलयन को पौधे के पास जमीन पर देने से अच्छे परिणाम मिलते है (1 …

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मानस प्रभाती

डॉ अरविंद मिश्रा चित्रकूट पहुँचने के पहले श्रीराम ने मुनिवर वाल्मीकि से किसी निरापद स्थल के बारे में पूछा जहाँ वे सीता और लक्ष्मण के साथ वनवास का कुछ समय बिता सकें। मुनि वाल्मीकि उन्हें कुछ स्थलों की जानकारी दी और आप भी उन स्थलों के बारे में जानिए। सबु करि मागहिं एक फलु राम चरन रति होउ।तिन्ह कें मन मंदिर बसहु सिय रघुनंदन दोउ जिनके न तो काम, क्रोध, मद, अभिमान और मोह हैं, न लोभ है, न क्षोभ …

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चींटियों का सहज समझ ज्ञान

डॉ० जयवीर सिंह अध्यक्ष महर्षि सुश्रुत चिकित्सा संस्थानएवं वन्य जीव संरक्षण एवं अनुसंधान संस्थान वैज्ञानिकों ने पता लगाया है कि चींटियां अनाज और बीजों को जमा कर जमीन में रखने से पहले उन्हें दो टुकड़ों में तोड़ देती हैं। क्‍योंकि यदि दाना या बीज दो टुकड़ों में न टूटे, तो वह भूमि में उगकर पौधा बन जाएगा। उन्होंने हैरानी से कहा कि चींटियां धनिये के बीज को चार भागों में काटती हैं क्योंकि धनिये का एक ही बीज होता है …

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हनुमानजी की अद्भुत पराक्रम भक्ति कथा

जब रावण ने देखा कि हमारी पराजय निश्चित है तो उसने 1000 अमर राक्षसों को बुलाकर रणभूमि में भेजने का आदेश दिया ! ये ऐसे थे जिनको काल भी नहीं खा सका था! विभीषण के गुप्तचरों से समाचार मिलने पर श्रीराम को चिंता हुई कि हम लोग इनसे कब तक लड़ेंगे ? सीता का उद्धार और विभीषण का राज तिलक कैसे होगा?क्योंकि युद्ध कि समाप्ति असंभव है ! श्रीराम कि इस स्थिति से वानरवाहिनी के साथ कपिराज सुग्रीव भी विचलित …

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राम जेठमलानी की पुण्यतिथि पर विशेष

बात 2009 की है. मोहम्मद अली जिन्ना पर लिखी गई एक किताब का विमोचन हो रहा था. यह किताब भाजपा नेता जसवंत सिंह ने लिखी थी. देश-विदेश की कई बड़ी हस्तियां इस समारोह में उपस्थित थीं. प्रसिद्ध वकील राम जेठमलानी भी इनमें से एक थे. उन्होंने इस समारोह में कहा, ‘विभाजन का मुख्य कारण मोहम्मद अली जिन्ना नहीं, हरिचन्द्र नाम का एक कंजूस हिन्दू था.’ जेठमलानी के इस बयान ने सभी को चौंका दिया. यहां मौजूद इतिहासकार भी नहीं जानते …

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नागासाधू और अहमद शाह अब्दाली

जब अहमद शाह अब्दाली दिल्ली और मथुरा में मार काट करता गोकुल तक आ गया और लोगों को बर्बरतापूर्वक काटता जा रहा था. महिलाओं के साथ बलात्कार हो रहे थे, तब गोकुल में अहमदशाह अब्दाली का सामना नागा साधुओं से हो गया। कुछ 5 हजार चिमटाधारी पूज्य नागा साधु तत्काल सेना में तब्दील होकर लाखों की हबसी, जाहिल जेहादी सेना से भिड गए। पहले तो अब्दाली साधुओं को मजाक में ले रहा था किन्तु कुछ देर में ही अपने सैनिकों …

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सोशल मीडिया आप मैं और हम

सुभाष ऐतयाँ एक विवाह कार्यक्रम शुरू होने से पहले स्टेज पर खड़े एक साहब ने बुलन्द आवाज में कहा “अगर किसी को इस शादी से ऐतराज है तो अभी बता दे” तभी ठीक सबसे पीछे वाली लाइन में बैठी एक खूबसूरत लड़की एक छोटा सा बच्चा अपनी गोद में लिये लोगों को हटाते हुए अचानक स्टेज के सामने आ गई उसे देख वहाँ मौजूद सारे लोग हक्के बक्के रह गए लड़की को स्टेज़ के पास देखते ही दुल्हन ने बिना …

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शिमला समझौता पर भारी पड़ी थी बेनज़ीर की खूबसूरती

राजीव पुरोहित ठीक 50 साल पहले भारत और पाकिस्तान के बीच शिमला समझौता हुआ था. उस वक्त समझौते से ज़्यादा चर्चा बेनज़ीर की हुई थी, जो अपने पिता के साथ भारत आईं थीं। तब भुट्टो ने उन दिनों अमरीका से गर्मियों की छुट्टी में पाकिस्तान आईं अपनी 19 वर्षीय बेटी बेनज़ीर से शिमला चलने को कहा था।विमान में बग़ल में बैठे उनके पिता ने उन्हें समझाया कि इस यात्रा के दौरान ‘तुम्हें बिल्कुल भी मुस्कराना नहीं है’। भारतीय लोगों को …

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चोकर के लड्डू पंजाब की पारंपरिक रेसिपी

आज दिन भर लुधियाना जिले के खन्ना क्षेत्र की ख़ाक छान कर जब वापिसी घर की राह पकड़ी तो राजपुरा राडार पर हम पकड़े गए और एक नई इनोवेशन के दीदार करने हेतु सड़क से नीचे राजपुरा टाउन में बुला लिए गए। ऑफर ही इतना लयुक्रेटिव था कि बायपास करने का मूड़वा नही बना। सरदार गुरदेव सिंह जी उर्फ जानी जीराकपुरिया जी को डॉक्टर ने फाइबर रिच भोजन की सलाह दी। आजकल के भोजन में फाइबर होता ही कहाँ है, …

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